Daily Current affairs 1 sept to 5 sept 2022 UPSC 2023 , Short Notes
1 Sept 2022
क्लाउड सीडिंग: (GS-3)
क्लाउड
सीडिंग, सूखी
बर्फ या सामान्यतः सिल्वर आयोडाइड एरोसोल के बादलों के ऊपरी हिस्से में छिड़काव की
प्रक्रिया है ताकि वर्षण की प्रक्रिया को प्रोत्साहित करके वर्षा कराई जा सके।
क्लाउड
सीडिंग में छोटे कणों को विमानों का उपयोग कर बादलों के बहाव के साथ फैला दिया
जाता है। छोटे-छोटे कण हवा से नमी सोखते हैं और संघनन से उसका द्रव्यमान बढ़ जाता
है। इससे जल की भारी बूँदें बनकर वर्षा करती हैं।
क्लाउड
सीडिंग के तरीके:
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हाइग्रोस्कोपिक क्लाउड सीडिंग: – बादलों के निचले हिस्से में ज्वालाओं या विस्फोटकों
के माध्यम से नमक को फैलाया जाता है, और
जैसे ही यह पानी के संपर्क में आता है नमक कणों का आकार बढ़ने लगता है।
o
स्टेटिक क्लाउड सीडिंग: – इसमें सिल्वर आयोडाइड जैसे रसायन को बादलों में
फैलाया जाता है। सिल्वर आयोडाइड एक क्रिस्टल का उत्पादन करता है जिसके चारों ओर
नमी संघनित हो जाती है। वातावरण
में उपस्थित जलवाष्प को संघनित करने में सिल्वर आयोडाइड अधिक प्रभावी है।
o
डायनेमिक क्लाउड सीडिंग: इसका उद्देश्य ऊर्ध्वाधर वायु राशियों को बढ़ावा
देना है जो बादलों से गुजरने हेतु अधिक जल को प्रोत्साहित करता है, जिससे वर्षा की मात्रा बढ़ जाती है। प्रक्रिया को स्थिर ,क्लाउड
सीडिंग, की
तुलना में अधिक जटिल माना जाता है क्योंकि यह अनुकूल घटनाओं के अनुक्रम पर निर्भर
करता है।
§ क्लाउड
सीडिंग के अनुप्रयोग:
o
कृषि: इसके द्वारा सूखाग्रस्त
क्षेत्रों में
कृत्रिम वर्षा के माध्यम से राहत प्रदान की जाती है। उदाहरण के लिये, वर्ष
2017 में
कर्नाटक में 'वर्षाधारी
परियोजना' के
अंतर्गत कृत्रिम वर्षा कराई गई थी।
o
विद्युत उत्पादन: क्लाउड सीडिंग के अनुप्रयोग द्वारा तस्मानिया (ऑस्ट्रेलिया) में पिछले 40 वर्षों के दौरान जल
विद्युत उत्पादन में
वृद्धि देखी गई है।
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जल प्रदूषण नियंत्रण:
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कोहरा का प्रसार, ओला वर्षण और चक्रवात की स्थिति
में परिवर्तन:
o
वायु प्रदूषण में कमी:
o
पर्यटन:
2 Sept
2022
क्राइम मल्टी एजेंसी सेंटर
क्रि-मैक/Cri-MAC: –क्रि-मैक को वर्ष 2020 में गृह मंत्रालय (MHA) द्वारा लॉन्च किया गया था, जो राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) द्वारा संचालित किया जाता है।
इसे विभिन्न कानून प्रवर्तन
एजेंसियों के साथ अपराध और अपराधियों के बारे में जानकारी साझा करने एवं उनके बीच
सूचना के निर्बाध प्रवाह को सुनिश्चित करने के लिये शुरू किया गया था।
इसका उद्देश्य देश भर में
अपराध की घटनाओं का जल्द पता लगाने और रोकथाम में मदद करना है।
क्रि-मैक वास्तविक समय के आधार पर
देश भर में मानव
तस्करी सहित महत्त्वपूर्ण अपराधों के बारे में जानकारी के प्रसार की सुविधा प्रदान करता है और अंतर-राज्य समन्वय को
सक्षम बनाता है।
‘सीएपीएफ ई-आवास (CAPF eAwas) पोर्टल ’ – केंद्रीय गृह एवं सहकारिता
मंत्री ने 1 सितंबर,
2022 को नई दिल्ली में केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बल (Central
Armed Police Force- CAPF) ई-आवास वेब पोर्टल का शुभारंभ किया। गृह मंत्रालय (MoHA) के प्रशासनिक नियंत्रण के तहत भारत में सात CAPFs हैं।
5 Sept 2022
इन्फ्लेटेबल एरोडायनामिक
डिसेलेरेटर: ISRO
– हाल ही में ISRO ने इन्फ्लेटेबल एरोडायनामिक डिसेलेरेटर (Inflatable Aerodynamic Decelerator-IAD) तकनीक का सफलतापूर्वक परीक्षण किया है जो स्पेंट स्टेज रिकवरी
में आने वाली लागत को प्रभावी रूप से कम कर सकता है और अन्य ग्रहों पर सुरक्षित
रूप से पेलोड लैंडिग में सहायता कर सकता है।
IAD का
ISRO के
विक्रम साराभाई अंतरिक्ष केंद्र (Vikram
Sarabhai Space Centre- VSSC) द्वारा डिज़ाइन, विकसित और सफलतापूर्वक परीक्षण किया गया है।
IAD का
थुम्बा इक्वेटोरियल रॉकेट लॉन्चिंग स्टेशन से रोहिणी-300 (RH300 Mk II) साउंडिंग रॉकेट में सफलतापूर्वक परीक्षण
किया गया था।
रोहिणी साउंडिंग राकेटों का उपयोग
ISRO द्वारा
विकसित की जा रही नई प्रौद्योगिकियों के साथ-साथ भारत और विदेशों के वैज्ञानिकों
द्वारा उड़ान प्रदर्शन के लिये नियमित रूप से किया जाता है।
IAD वातावरण
के माध्यम से नीचे गिरने वाली वस्तु की गति को
धीमा करने
का कार्य करता है।
लद्दाख में डार्क
स्काई रिज़र्व – हाल ही में अपनी तरह की विशिष्ट
एवं भारत के पहले डार्क स्काई रिज़र्व की विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग (DST) द्वारा हानले, लद्दाख में स्थापना की घोषणा की है।डार्क स्काई रिज़र्व
डार्क स्काई रिज़र्व एक ऐसे स्थान
को दिया गया नाम है जिसमें यह सुनिश्चित करने के लिये नीतियाँ हैं कि किसी भूमि या
क्षेत्र के एक पथ में न्यूनतम कृत्रिम प्रकाश बाधाएँ होती है।
भारत बना विश्व की
पाँचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था – हाल ही में भारत यूनाइटेड किंगडम को पछाड़कर विश्व की पाँचवीं सबसे बड़ी
अर्थव्यवस्था बन गया है। अब संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन, जापान और जर्मनी की ही अर्थव्यवस्था भारत से बड़ी
है।
अनिश्चितताओं से युक्त विश्व में
वास्तविक सकल
घरेलू उत्पाद (GDP) में 6-6.5% की वृद्धि करते के साथ ही भारत वर्ष 2029 तक तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था
बनने के लिये तैयार है।